मंगलवार, अक्तूबर 25, 2016

माचिस की तीलियाँ

एक जैसी ही दिखती थी............माचिस की वो तीलियाँ,
कुछ ने दीये जलाये....................और कुछ ने घर।

कुछ ने महकाई.................. अगरबत्तियां मंदिर में,
तो कुछ ने सुलगाए..............सिगरेट के कश।


कहीं गरमाया चूल्हा..............और बनी रोटियां,
तो कहीं फटे बम .........….....और बिखरी बोटियाँ।

जली कहीं शादी में...............हवन कुंड की अगन,
तो फूंकी गई कहीं...............दहेज की कमी से सुहागन।

काजल कभी ..…..........नवजात शिशु का बनाया गया,
शमशान में किसी............चिता को जलाया गया।

एक सी दिखती थी............माचिस की वो तीलियाँ,
पर सभी ने एक.................अलग ही रंग दिखाया।

1 टिप्पणियाँ:

Shilpa Shree ने कहा…

pheli baar padha hai aapko...laga ab ja kar kuch naya padha hai humne. bahut khub!